विश्व समोसा दिवस: जब तक रहेगा समोसे में आलू, तेरा रहूंगा ओ मेरी शालू!

TARESH SINGH
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समोसे कहां से आए और कहां चले जाएंगे ये मेरा विषय नहीं है, मेरी चिंता उस मुल्क को लेकर है जहां समोसे नहीं हैं. उन देशों में मानवता पर संकट है. वो समोसे ही थे जिन्होंने देशों को हंगर इंडेक्स में गिरने नहीं दिया. वो ना जाने कितने बेरोजगारों और कितने प्रवासियों की दोपहरों का आहार बने. उनका स्वाद सभी इंद्रियों को शिथिल करने वाला है.​समोसे कहां से आए और कहां चले जाएंगे ये मेरा विषय नहीं है, मेरी चिंता उस मुल्क को लेकर है जहां समोसे नहीं हैं. उन देशों में मानवता पर संकट है. वो समोसे ही थे जिन्होंने देशों को हंगर इंडेक्स में गिरने नहीं दिया. वो ना जाने कितने बेरोजगारों और कितने प्रवासियों की दोपहरों का आहार बने. उनका स्वाद सभी इंद्रियों को शिथिल करने वाला है. 

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