अंडमान निकोबार को लेकर भारत सरकार ने अब तक बहुत उदासीनता बरती है. भारत ने पहले ध्यान दिया होता तो आज हमारे पास भी दुबई और सिंगापुर की तरह दुनिया का एक महत्वपूर्ण पोर्ट हब होता. विरोध का जो लेवल है उसे देखते हुए यह कहा जा सकता है कि अभी भी यह सपना दूर की ही कौड़ी है.अंडमान निकोबार को लेकर भारत सरकार ने अब तक बहुत उदासीनता बरती है. भारत ने पहले ध्यान दिया होता तो आज हमारे पास भी दुबई और सिंगापुर की तरह दुनिया का एक महत्वपूर्ण पोर्ट हब होता. विरोध का जो लेवल है उसे देखते हुए यह कहा जा सकता है कि अभी भी यह सपना दूर की ही कौड़ी है.